नई दिल्ली: जल शक्ति मंत्री सी.आर. पाटिल ने गुरुवार को स्वच्छ सर्वेक्षण ग्रामीण (SSG) 2025 की शुरुआत की। यह देशव्यापी अभियान पेयजल और स्वच्छता विभाग द्वारा ग्रामीण क्षेत्रों की स्वच्छता का आकलन करने के लिए शुरू किया गया है। इस मौके पर मंत्री पाटिल ने कहा कि “मापन से प्रबंधन” की सोच से ही विकास संभव है और स्वच्छता कोई एक बार की उपलब्धि नहीं, बल्कि निरंतर प्रयास है।
उन्होंने सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों से आग्रह किया कि वे अपनी स्वच्छता से जुड़ी नवाचार और श्रेष्ठ प्रयोग साझा करें। उन्होंने कहा कि “विकसित भारत” के लक्ष्य को पाने के लिए जनभागीदारी से चलने वाली स्थायी स्वच्छता आवश्यक है। इस पहल के माध्यम से न केवल साफ-सफाई को बढ़ावा मिलेगा बल्कि लोगों में जागरूकता भी फैलेगी।
रेलवे और जल शक्ति राज्यमंत्री वी. सोमन्ना ने कहा कि यह केवल सर्वे नहीं बल्कि राष्ट्रीय सत्यापन प्रक्रिया है जो राज्यों और जिलों की ग्रामीण स्वच्छता प्रदर्शन को रैंक करेगी। सचिव अशोक के.के. मीणा ने बताया कि यह सर्वे स्वच्छ भारत मिशन (ग्रामीण) फेज-2 का हिस्सा है और इसकी सफलता से ही देश के ग्रामीण इलाकों में स्थायी स्वच्छता सुनिश्चित की जा सकेगी।



