वरिष्ठ मौलवी मौलाना डॉ. मकसूद इमरान रशादी ने कहा, “यह भयावह घटना अस्वीकार्य और अक्षम्य है। आतंकवाद की कड़ी से कड़ी शब्दों में निंदा की जानी चाहिए।”
मुस्लिम नेताओं ने इस दुखद घटना पर गहरा शोक व्यक्त किया और मृतकों के परिवारों के प्रति अपनी संवेदनाएं व्यक्त कीं। उन्होंने कहा कि आतंकवाद का कोई धर्म नहीं होता और यह मानवता के खिलाफ एक अपराध है।
उन्होंने सरकार से इस हमले के दोषियों को जल्द से जल्द पकड़कर उन्हें न्याय के कटघरे में लाने की मांग की। मुस्लिम नेताओं ने यह भी कहा कि वे इस मुश्किल घड़ी में देश के साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़े हैं और आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में हर संभव सहयोग करने के लिए तैयार हैं। उन्होंने सभी राजनीतिक दलों और सामाजिक संगठनों से एकजुट होकर आतंकवाद के खिलाफ आवाज उठाने का आह्वान किया।



