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मल्लिकार्जुन खरगे: कांग्रेस में खरगे युग शुरू, बोलीं सोनिया गांधी- बड़ी जिम्मेदारी से हो जाऊंगी मुक्त

मल्लिकार्जुन खरगे के सामने कई चुनौतियां हैं. उनकी सबसे बड़ी चुनौती कांग्रेस की खोई प्रतिष्ठा वापस लाने की होगी. इसके अलावा गुजरात और हिमाचल प्रदेश चुनाव, राजस्थान कांग्रेस का सियासी संकट आने वाले समय में कई और राज्यों में विधानसभा चुनाव को लेकर पार्टी को मजबूत करना उनके लिए बड़ी जिम्मेदारी होगी.

कांग्रेस के नवनिर्वाचित अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे आज यानी बुधवार को पदभार ग्रहण कर लिया है. इस दौरान उन्होंने कहा कि यह उनके लिए बेहद महत्वपूर्ण क्षण है. उन्होंने सोनिया गांधी की तारीफ करते हुए कहा कि सोनिया गांधी ने कांग्रेस को संभाला. बीते 24 सालों में यह पहला मौका है जब कोई गैर नेहरू-गांधी परिवार का शख्स कांग्रेस अध्यक्ष पद संभाल रहा हैं.

बड़ी जिम्मेदारी से मुक्त हो जाऊंगी- सोनिया गांधी: वहीं मल्लिकार्जुन खरगे की ताजपोशी के मौके पर सोनिया गांधी ने उन्हें बधाई दी है. सोनिया गांधी ने कहा कि खरगे अपनी मेहनत और लगन से अध्यक्ष पद पर काबिज हुए हैं. उनके अध्यक्ष बनने में आज मै काफी राहत महसूस कर रही हूं. उन्होंने कहा कि आज मैं बड़ी जिम्मेदारी से मुक्त हो जाउंगी.

पहाड़ जैसी चुनौतियों का करना होगा सामना: मल्लिकार्जुन खरगे के सामने कई चुनौतियां हैं. उनकी सबसे बड़ी चुनौती कांग्रेस की खोई प्रतिष्ठा वापस लाने की होगी. इसके अलावा गुजरात और हिमाचल प्रदेश चुनाव, राजस्थान कांग्रेस का सियासी संकट आने वाले समय में कई और राज्यों में विधानसभा चुनाव को लेकर पार्टी को मजबूत करना उनके लिए बड़ी जिम्मेदारी होगी.

2023 में नौ राज्यों में विधानसभा चुनाव: 2023 में देश के नौ राज्यों में विधानसभा चुनाव होने वाले हैं. खरगे के गृह राज्य कर्नाटक भी चुनाव हैं. ऐसे में खरगे के लिए पार्टी को एक दिशा में लाना और जीत की कवायद करना उनके लिए महत्वपूर्ण जिम्मेदारी होगी. गौरतलब है कि अभी राजस्थान और छत्तीसगढ़ में ही कांग्रेस की सरकार है. ऐसे में खरगे के लिए अन्य राज्यों में जीत सुनिश्चित करने के लिए कड़ी मेहनत करनी होगी.

2024 में होने वाले हैं लोकसभा चुनाव: साल 2024 को लोकसभा चुनाव शुरू होगा. बीते 2 लोकसभा चुनावों में कांग्रेस का परफॉर्मेंस घटा है. ऐसे में खरगे के लिए आने वाले समय में पार्टी को सटीक आधार देना और लोकसभा चुनाव में बेहतर करना बड़ी जिम्मेदारी होगी. इसके अलावा पार्टी नेताओं को कांग्रेस से जोड़े रखना भी उनके लिए बड़ी चुनौती से कम नहीं.

from prabhat khabar

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