हाई कोर्ट ने क्राइम सीन याचिका ट्रायल कोर्ट को भेजी।
कोलकाता, पश्चिम बंगाल: आरजी कर मेडिकल कॉलेज से जुड़े एक संवेदनशील मामले में.
कलकत्ता हाई कोर्ट ने पीड़ित के माता-पिता की अपराध स्थल का निरीक्षण करने की अनुमति वाली याचिका पर फैसला लेने का अधिकार ट्रायल कोर्ट को दे दिया है। यह मामला न्याय प्रक्रिया में पीड़ितों के अधिकारों और उनकी भावनाओं के महत्व को दर्शाता है।
पीड़ित के माता-पिता ने अपनी बेटी का शव मिलने वाले सेमिनार रूम को छोड़कर, अपराध स्थल के अन्य हिस्सों का निरीक्षण करने की अनुमति मांगी थी। उनका मानना है कि घटनास्थल का दौरा करने से उन्हें अपनी बेटी के साथ हुई घटना को समझने में मदद मिलेगी, और वे न्याय की प्रक्रिया में अधिक सक्रिय रूप से शामिल हो पाएंगे। हालांकि, ऐसे संवेदनशील स्थानों पर अनावश्यक हस्तक्षेप से जांच प्रभावित हो सकती है, इसलिए हाई कोर्ट ने इस मामले को ट्रायल कोर्ट के विवेक पर छोड़ दिया है।
ट्रायल कोर्ट अब माता-पिता की याचिका पर विचार करेगा और सभी संबंधित पहलुओं, जैसे कि जांच की स्थिति, साक्ष्य की पवित्रता, और माता-पिता की भावनात्मक आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुए उचित निर्णय लेगा। यह फैसला पीड़ितों के परिवारों को न्याय प्रक्रिया में थोड़ी अधिक भागीदारी देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम हो सकता है।


